G20 : शेरपा अमिताभ कांत ने कहा, दुनिया भर के लोगों के लिए सुलभ होना चाहिए डेटा
- अमिताभ कांत ने उद्घाटन सत्र में प्रतिनिधियों को संबोधित किया
-शेरपा ने कहा-कम विकसित और विकासशील देश डेटा और गुड गवर्नेंस के उपयोग के बिना कभी भी तकनीकी रूप से आगे नहीं बढ़ पाएंगे
मुंबई। 13 दिसंबर। मुंबई में मंगलवार को पहली विकास कार्य समूह की बैठक के दौरान 'विकास के लिए डेटा: 2030 एजेंडा को आगे बढ़ाने में G20 की भूमिका' विषय पर कार्यक्रम आयोजित की गई। इस मौके पर भारत के G20 शेरपा अमिताभ कांत ने कहा कि भारत सरकार ने अच्छा डेटा गवर्नेंस लाने की कोशिश की है और डेटा गवर्नेंस क्वालिटी इंडेक्स जैसी कई पहलें की हैं। उन्होंने कहा, कम विकसित और विकासशील देश डेटा और गुड गवर्नेंस के उपयोग के बिना कभी भी तकनीकी रूप से आगे नहीं बढ़ पाएंगे। उन्होंने कहा, दुनिया भर के लोगों के लिए डेटा सुलभ होना चाहिए।
शेरपा कांत ने कहा, G20 ने अतीत में ऐसे समय में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है जब आर्थिक विकास और वित्तीय प्रगति प्रभावित हुई है। उन्होंने कहा, G20 का डेवलपमेंट वर्किंग ग्रुप ऐसे समय में मिल रहा है जब दुनिया उथल-पुथल के बीच है। कांत ने कहा, भारत ने G20 की अध्यक्षता तब संभाली है जब वैश्विक विकास धीमा हो गया है, मुद्रास्फीति का संकट मंडरा रहा है, कोविड के कारण बड़ी संख्या में लोग गरीबी रेखा से नीचे जा रहे हैं और वैश्विक ऋण का संकट है।
कांत ने कहा कि जलवायु वित्त और जलवायु कार्रवाई का भारी संकट है और वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला बाधित हो गई है। उन्होंने कहा, भारत का मानना है कि हर संकट एक बड़ा अवसर भी होता है। उन्होंने कहा, प्रधानमंत्री मोदी ने जो कहा है उससे बेहतर अवसर नहीं हो सकता है कि भारत का G20 नेतृत्व निर्णायक होगा, समावेशी होगा, कार्रवाई उन्मुख होगा। उन्होंने कहा, जहां तक G20 का संबंध है, विकास कार्य समूह विकास का दिल और आत्मा है और इसे बहुत ही महत्वपूर्ण और प्रमुख भूमिका निभानी है।
कांत ने कहा, मिशन LiFE का व्यवहार के साथ बहुत कुछ करना है। यह वे देश नहीं हैं जो बदलाव लाएंगे, यह व्यक्तिगत और सामूहिक व्यवहार है जो अंतर लाएगा।
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने भी वीडियो संदेश के माध्यम से प्रतिनिधियों को संबोधित किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि भारत सरकार इस महीने के अंत तक नेशनल डेटा गवर्नेंस फ्रेमवर्क पॉलिसी के तहत नागरिकों की व्यक्तिगत जानकारी वाले अज्ञात डेटाबेस एकत्र करने के लिए तैयार है। उन्होंने कहा, हमारा उद्देश्य नवाचार को उत्प्रेरित करना और अधिक प्रभावी नीति और व्यावहारिक समाधान तैयार करना है।
इस मौके पर इंफोसिस के सह-संस्थापक नंदन नीलेकणि ने पहली विकास कार्य समूह की बैठक में 'विकास के लिए डेटा' पर बोलते हुए कहा, भारत अपने जनसंख्या पैमाने प्रणालियों के डेटा के माध्यम से देश के विकास को बारीकी से ट्रैक करने के लिए अच्छी स्थिति में है। उन्होंने कहा, भारत में हम विशेष रूप से भाग्यशाली रहे हैं कि हमारे पास बड़ी मात्रा में जनसंख्या माप प्रणालियां हैं जो डेटा का खजाना पैदा कर रही हैं।
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